सेक्स विद हसबैंड वाइफ पोर्न स्टोरी में पढ़ें कैसे मेरे पति ने मेरी कामवासना को शांत करने के लिए मुझे अपने दोस्त के हवाले किया. फिर दोनों ने मिलकर मेरी चूत का मजा लेने का प्रोग्राम बनाया.
कहानी के तीसरे भाग
मेरी बीवी मेरे दोस्त से चुद ही गयी
में आपने पढ़ा कि कैसे मेरे पति के दोस्त ने पति की मौजूदगी में मेरी चूत मारी और फिर गांड भी मार ली.
परमीत बोला- प्रिया, मेरा निकलने वाला है!
और अपने अंतिम शॉट पूरी जी जान से मारते हुए ना सारा वीर्य मेरी गांड में निकाल दिया.हम लोग उसी पोजीशन में लुढ़क गए.
अब आगे सेक्स विद हसबैंड वाइफ पोर्न स्टोरी:
लेकिन परमीत का लंड अभी भी मेरे गांड में था जो धीरे-धीरे निकलने लगा.
और कुछ समय बाद ढीला होकर पूरी तरह निकल गया.
परमीत और मैं पूरी तरह से थक चुके थे.
परमीत नहीं जानता था कि आखिर मेरी इतनी जोरदार चुदाई का राज क्या था.
मैंने उसके खाने में सेक्स की 2 गोली मिलाई थी जिसके कारण 2 बार डिस्चार्ज होने में उसको 1 घंटे से भी ज्यादा समय लगा.
कुछ समय बाद परमीत मेरी बगल में मेरे ऊपर पैर डालते हुए लेट गया और मेरे बूब्स पर मुंह रखकर सहलाने लगा.
हम बातें करने लगे.
उधर मैं राज की तरफ देख रही थी और मुस्कुरा भी रही थी.
राज मुझे इशारे कर रहा था और आगे बढ़ने के लिए!
लेकिन मैंने राज को मना कर दिया आँखों से इशारा करके … क्योंकि मैं पूरी तरह थक चुकी थी.
धीर धीरे मैं, राज और परमीत तीनों की आंख लग गई, पता ही नहीं चला.
सुबह 6 बजे मेरी नींद खुली देखा तो राज सोया हुआ था.
लेकिन परमीत और मैं दोनों नंगे ही बेड पर थे, उसका पैर मेरे ऊपर था और हाथ मेरे बूब्स पर था.
मैंने पहले परमीत को जगाया और उसके गाल पर किस करते हुए उसे गुड मॉर्निंग विश किया और कहा कि जल्दी से अपने कपड़े पहन ले.
फिर मैंमें भी अपने कपड़े समेट परमीत के सामने ही एक गाउन पहन लिया और किचन में जाकर चाय बना लाई.
तब मैंने राज को उठाते हुए कहा- जल्दी से चाय पीकर फ्रेश हो जाओ.
वे दोनों फ्रेश होकर हाल में आ गए और नाश्ता करते हुए बात करने लगे.
राज एकदम नॉर्मल था.
परमीत और मैं रात वाली चुदाई पर मुस्कुराते हुए आँखों आँखों में इशारे कर रहे थे.
अब आगे राज की जबानी:
नाश्ता करते हुए मैं परमीत और प्रिया का खेल देख रहा था.
फिर कुछ देर बाद प्रिया फ्रेश होने चली गई और जब आई तो वह पिंक गाउन पहने थी.
धीरे धीरे दोपहर हो गई.
फिर हमने लंच किया और दोपहर के वक्त रेस्ट किया.
शाम के 5 बजे हम उठे और चाय पी.
फिर मैंने प्रिया से कहा- मैं और परमीत घूमने जा रहे हैं.
तब मैं और परमीत दोनों बाहर घूमने गए जहां पहले हम मेरे कुछ दोस्तों से मिले.
फिर मैंने परमीत से कहा- चलो किसी बियर बार में चलते हैं!
बार में मैंने और परमीत ने एक एक बियर पी.
इस दौरान हम लोगों में काफी बातें हुई.
अब मेरे खेल का दूसरा अध्याय चालू होने वाला था.
आगे देखिए:
मैंने परमीत से कहा- यार, मजा नहीं आ रहा, चलो घर पर ही चलते हैं.
परमीत ने कहा- घर पर मजा नहीं आयेगा. यहाँ गाने डांस सब है.
मैंने कहा- तुम चिंता मत करो, आज घर पर ही सारी फैसिलिटीज कर लेंगे.
फिर हम लोग घर की तरफ निकल पड़े.
रास्ते में मैंने प्रिया को फोन किया और कहा- मैं और परमीत घर पर आ रहे हैं और वहीं पार्टी करेंगे जिसमें पीना खाना और डांस भी होगा. सारी व्यस्था कर लेना!
प्रिया मेरे बोलने का मतलब समझ गई.
परमीत ने मुझसे कहा- डांस?
मैंने कहा- यार मैं घर पर ही सब चीज करना पसंद करता हूँ!
हम दोनों करीब 8 बजे घर पहुंच गए तो देखा खाना टेबल पर लगा था और ड्रिंक चखना सोफे के पास टेबल पर लगी थी.
परमीत बोला- यार राज, भाभी ने तो सारी व्यवस्था कर दी है.
प्रिया तभी बेडरूम से निकली और कहा- आ गए आप दोनों? बाहर मन नहीं लगता जो घर को ही डांस बार बना रहे हो?
प्रिया ने उस समय काले रंग का कोटी वाला लॉन्ग नाइट गाउन पहना था और बालों का जूड़ा बना रखा था.
मैंने प्रिया से कहा- तो आओ हमें ज्वाइन कर लो.
जिस पर प्रिया ने कहा- आती हूँ 5 मिनट में! तब तक आप लोग शुरू करो. और हां कुछ सॉन्ग्स भी लगाओ ताकि कुछ मूड़ बने!
फिर प्रिया बेडरूम में चली गई.
आगे की कहानी प्रिया की जबानी:
मैं जैसे ही बेडरूम में आई, मैंने अपना गाउन निकाला. मैं पहले से ही तैयार थी, मैंने हरे रंग का शॉर्ट बंजारन लहंगा जो मेरे घुटनों तक ही था और लाल ब्लाउज जो की पीछे से बैकलेस और गहरे गले का था, जिसमें मेरे बूब्स बाहर निकलने को आतुर हो रहे थे. मेरे बालों का जूड़ा बना था पहले से ही! हाथों में लाल कंगन और पैरों में पायल थी.
मैंने हल्का मेकअप भी किया और आइने में खुद को देखा.
मैं एकदम मॉल लग रही थी … या कह दो कि एक रण्डी लग रही थी.
उधर राज और परमीत दोनों बात करने में लगे थे.
परमीत राज से बोला- क्या बात है यार, भाभी ने तो घर पर ही सब इंतजाम कर रखे हैं.
राज परमीत से मेरी तारीफों के पुल बांध रहा था.
दोनों का एक एक पैग हो चुका था.
तभी राज ने मुझे आवाज लगाई- प्रिया, जल्दी आओ, हमारे पैग तो बना दो!
मैं अपने आप पर मुस्कुराती हुई हाल में पहुंची.
परमीत की नजर जैसे ही मुझ पर पड़ी, वह मुझे देखता ही रह गया.
आखिर मैं दिख ही हॉट रही थी.
मैंने परमीत की ओर देखकर मुस्कुरा दी और उसे आंख मारकर अपनी तरफ और सम्मोहित किया.
उधर राज ने हमारा ध्यान हटाते हुए कहा- आओ प्रिया बैठो हमारे साथ ही!
मैं मटकती हुई, अदाएं बिखेरती हुई टेबल के सामने यानि उन दोनों के बीच जाकर खड़ी हो गई.
दोनों मेरे शरीर को ताड़ रहे थे … मेरे चेहरे, बूब्स, कमर मेरा लहंगा, मेरे पैर जो घुटनों के नीचे पूरे नंगे थे.
इस तरह दोनों के देखने भर से मेरे चूत में पानी आ गया.
राज ने कहा- प्रिया बैठो और हमारे लिए पैग बनाओ.
मैं उन दोनों के बीच जाकर सोफे पर बैठ गई.
सोफे में काफी जगह थी.
फिर मैं आगे होकर टेबल पर पैग बनाने लगी.
मैंने तीन ग्लास बनाये.
पैग बनाने में मैं टाइम लगा रही थी.
उधर परमीत मेरे लहंगे से ऊपर मेरी कमर और मेरी बैकलेस पीठ पर नजर गड़ाये हुए था मानो उसकी जीभ से लार टपक रही हो.
मैंने फिर राज की तरफ देखा जो हल्के से मुस्कुरा रहा था.
राज ने मेरी कमर पर हाथ रखते हुए कहा- प्रिया जल्दी करो!
और मैंने अपने दोनों हाथों में ग्लास लेकर दोनों के हाथों में दे दिया.
फिर अपना ग्लास लेकर सोफे में बैठ कर पीने लगी.
हम लोग बात कर रहे थे.
लेकिन परमीत का ध्यान मेरी चूचियों पर था और मेरी क्लीवेज भी उसकी आँखों के सामने ही थी.
तभी राज ने कहा- प्रिया देखो, परमीत कितना धीरे धीरे पी रहा है.
मैंने राज से कहा- तुम म्यूजिक चालू करो! तब तक परमीत अपना ग्लास खत्म कर लेंगे.
मैं उठी और सोफे पर एक पैर रखकर थोड़ा झुक कर परमीत का ग्लास अपने हाथों में लेकर उसके होंठों पर लगा दिया और कहा- लो मेरे राजा, आज अपनी कनीज के हाथों से पी लो!
मेरे बूब्स उसके चेहरे के सामने ही थे.
ग्लास खाली होते ही मैंने अपने बूब्स को उसके होंठों पर दबा दिया और मुस्कुराने लगी.
तभी म्यूजिक चालू हो गया और मैं परमीत के हाथों को पकड़ डांस करने के लिए ले आई.
जहाँ हम तीनों डांस करने लगे.
डांस के दौरान राज मेरे सारे शरीर को छू रहा था.
वहीं मैं परमीत के हाथों को पकड़ अपने सारे शरीर को सहला रही थी.
एक बार तो ऐसा समय आया कि मैं राज और परमीत के बीच सैंडविच की तरह खड़ी थी.
मेरे पीछे राज मेरी बैकलेस ब्लाउज से नंगी पीठ और लहंगे से ऊपर से उसके खड़े लंड से मेरी गांड पर दबाव बना रहा था.
उधर परमीत सामने मेरी आँखों में देख रहा था.
उसकी छाती मेरे बूब्स को दबाए थी और लंड मेरे लहंगे के ऊपर से मेरी चूत में सटा था.
मैंने परमीत के हाथों को लेकर अपनी कमर पर रख दिया जिसे वह अब हल्के हल्के सहला रहा था.
अब मैंने अपने दोनों हाथों को हवा में कर दिया ताकि दोनों मेरे जिस्म को आसानी से सहला सकें.
और हो भी यही रहा था.
तभी गाना खत्म हो गया.
म्यूजिक बंद होते ही हम तीनों अलग हो गए.
मैं परमीत और राज की ओर देखकर मुस्कुराने लगी.
मैंने दोनों से कहा- बहुत डांस हो गया. अब बैठो आप लोग!
वे दोनों सोफे पर जाकर बैठ गए.
मैं भी सोफे के पास पहुंची.
राज इस बार परमीत के थोड़ा नजदीक बैठा था, मैंने फिर से 2 पैग बनाए और उनके हाथों में दिए.
फिर मैंने कहा- मैं तो थक गई हूँ, मेरा तो लेटने का मन कर रहा है.
जिस पर राज बोला- यहीं सोफे पर लेट जाओ!
मैंने कहा- लेकिन जगह तो नहीं है.
जिस पर राज ने मेरा हाथ पकड़कर खींचते हुए मुझे अपनी जाँघों पर बैठा लिया और कहा- मेरी जान, जब हम दोनों की गोद है तो इस पर ही आराम कर लो!
मैंने कहा- परमीत, क्या मैं लेट सकती हूँ?
जिस पर वह भी हँसते हुए बोला- क्यों नहीं भाभी, आराम से लेट जाइए.
मैं अब परमीत की और मुंह करके लेट गई.
कुछ इस तरह कि मेरे बूब्स उसकी जांघों पर दब रहे थे और पैर राज की गोद पर थे.
लेकिन मुझे मजा आ रहा था.
मेरी बैकलेस पीठ परमीत के सामने थी और मेरे लहंगे और पैर का पोर्शन राज के पैरों पर था.
फिर राज ने बात शुरू करते हुए कहा- यार परमीत, देखो 2 पैग में ही प्रिया बहक गई और लेट गई!
और राज ने मेरे पैरों को सहलाना चालू कर दिया.
उधर परमीत भी कहाँ पीछे रहता … उसने भी मेरी नंगी पीठ पर हाथ जमा लिया और सहलाने लगा.
दोनों अपने एक एक हाथ से मेरी पीठ और पैरों को सहला रहे थे और मेरी चूत में तो अभी से ही एक अजीब सी गुदगुदी होना शुरू हो गई थी.
मैं जानती थी कि आगे क्या होने वाला है.
परमीत का हाथ अब धीरे-धीरे नीचे होते हुए मेरी कमर तक आ चुका था.
वह बड़ी मासूमियत से सहला रहा था.
और उधर राज भी मेरे लहंगे को हल्का ऊपर कर सहलाने में लगा था.
जब मुझसे सहा नहीं गया तो मैंने कहा- तुम दोनों मुझे आराम से लेटने नहीं दोगे.
और मैं उनके सामने घूम गई.
अब मेरे बूब्स परमीत के सामने थे और पैर घुटने से ऊपर राज के सामने!
मैं परमीत की ओर देख रही थी.
उधर अब राज मेरे लहंगे को हल्के से ऊपर करने लगा जिसे मैंने हाथ नीचे करके रोक लिया.
लेकिन राज सहलाने में लगा रहा और परमीत का हाथ मेरे नंगे पेट पर था, वह उसे सहला रहा था.
फिर वह धीरे धीरे अपना हाथ ऊपर करने लगा और मेरे बूब्स को हल्के हल्के दबाने लगा.
मैं दोनों की हरकतों से मदहोश हो रही थी और मेरी चूत पूरी तरह गीली हो चुकी थी.
मैंने अपनी आंखें बंद कर ली थी.
लेकिन जब मुझसे सहा नहीं गया तो मैंने कहा- तुम दोनों अपनी शैतानियों से बाज नहीं आओगे.
राज बोला- मैं 2 मिनट में आता हूँ.
और वह टॉयलेट के लिए निकल गया.
मैं भी उठी और परमीत के दोनों तरफ पैर रखकर बैठ गई और मुस्कुरा कर कहा- क्यों आज क्या इरादा है?
जिस पर परमीत ने कहा- बस तुम्हें पाना है!
मैंने परमीत के माथे को चूमा और उसे अपने सीने से चिपका लिया.
अब उसका चेहरा मेरी क्लीवेज पर था जिसे वह किस कर रहा था.
मैंने भी उसके चेहरे को अपने सीने पर दबा लिया.
उधर उसके हाथ नीचे मेरी जांघ पर अपना कमाल दिखाने लगे थे.
मेरी चूत तो पहले से ही गीली हो चुकी थी जिसके कारण मेरी उत्तेजना बढ़ गई और मेरे मुंह निकल रहा था- ओह परमीत … क्या कर रहे हो!
और मैं उसके चेहरे को अपने बूब्स पर जोर से दबा रही थी.
इतने में राज हाल में आया.
परमीत ने मुझे अपने से दूर करते हुए कहा- राज आ गया!
जिस पर मैं भी उठकर परमीत के बगल में बैठ गई.
राज भी सोफे पर आकर बैठ गया और परमीत से बोला- देखा परमीत, मेरी बीवी कितनी हॉट है! सच कहूं तो इसे एक अकेला मैं तो शांत ही नहीं कर सकता हूँ!
परमीत बोला- भाभी हॉट ही नहीं, सेक्सी भी है राज भाई!
मैंने दोनों से कहा- मेरे दोनों आशिको … तो आओ मेरे राजाओ … मुझे शांत कर दो दोनों मिलकर!
दोनों मेरी तरफ देख रहे थे.
मैंने दोनों के चेहरे को पकड़कर अपने सीने से लगा लिया और दोनों बच्चों की भांति मेरे सीने से चिपक गए.
मैं बड़बड़ाने लगी- आओ मुझे शांत करो!
दोनों के हाथ मेरे पेट पर आ चुके थे सहला रहे थे.
परमीत का हाथ मेरे लहंगे के ऊपर से मेरी जांघ को सहला रहा था.
उधर राज ने मेरे लहंगे को ऊपर कर मेरी पैंटी की स्ट्रिप पर ले आया और परमीत ने भी वही किया.
फिर दोनों ने एक साथ मेरी पैंटी को धीरे धीरे मेरे पैरों से होते हुए निकाल दिया.
कहानी का एक भाग और बाकी है.
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