मेच्योर आंटी फक स्टोरी में मेरी मम्मी की सहेली ने मुझे बहाने से अपने घर बुलाया. फिर मेरे से गर्लफ्रेंड की बात शुरू करके माहौल सेक्स की तरफ मोड़ दिया और मेरा लंड ले लिया.
दोस्तो, मैं अर्जुन आपको अपनी मॉम की सहेली आंटी जेनिफर की चुदाई की कहानी सुना रहा था.
कहानी के पहले भाग
मम्मी की सहेली के लैपटॉप में न्यूड विडियो
में अब तक आपने पढ़ा था कि जेनिफर आंटी ने मुझे अपनी बांहों में भर लिया था और मुझे उनके रसभरे चूचों का मादक अहसास होने लगा था.
अब आगे मेच्योर आंटी फक स्टोरी:
आंटी के मुलायम गाल मेरे गाल से टच हो गए थे.
उन्होंने मेरे गाल पर अपने गुलाबी होंठों से एक चुम्मा दिया और बोलीं- ओह मेरे बेटे, तू बहुत अच्छा है. बहुत दिनों बाद आज मैं बहुत खुश हुई हूं.
फिर आंटी मुझसे अलग हो गईं और बोलीं- बेटा मैं बहुत खुश हूं और अब मैं थोड़ा जूस पीती हूं. लेकिन बेटा अपनी मॉम सीमा को यह मत बताना.
मैं बोला- आंटी जूस पीने का क्या मतलब?
आंटी- अरे बेटा, मेरा जूस तो वाइन है. इसकी मेरे को बहुत पहले से आदत लग चुकी है. इसके बिना मेरे दिन की शुरुआत नहीं होती है और आज तो मैं बहुत खुश हूं तो आज जरूर पियूंगी. यह वाइन वाली बात मॉम को मत बताना प्लीज.
मैं- आंटी डोंट वरी. मैं आज की कोई भी बात मॉम को नहीं बताऊंगा. मुझ पर भरोसा रखिए.
आंटी सोफे से उठने लगीं तो मैं सोफे से उठ गया और आंटी को वापस सोफे पर बैठा दिया.
मैं बोला- आप बैठिए और मुझे बताइए कि वाइन कहां है, मैं लेकर आता हूं.
आंटी मुस्करा कर बोलीं- बेटा, वह किचन में फ्रिज के अन्दर वाइन फ्रिजर है, उसमें से वाइन वाली बॉटल ला देना. फ्रिज से कुछ बर्फ और सोडा की बोतल भी ला देना, साथ में गिलास भी.
मैं किचन से वाइन, बर्फ, सोडा और कांच का गिलास लेकर आ गया और टेबल पर रख दिया.
फिर मैं आंटी के लिए पैग बनाने लगा.
तभी आंटी बोलीं- अरे बेटा मैं बना देती हूं. तू ये सब मत कर!
तो मैं बोला- अरे आंटी, मुझे पैग बनाना आता है. मैंने पापा के लिए बहुत बार बनाए हैं.
मैं तो खुद इस मौके की तलाश में था कि आंटी वाइन पिएं और थोड़ी नशे में आ जाएं, फिर मैं आंटी की चुदाई कर सकूं.
मैंने आंटी के लिए पैग बनाया और आंटी के हाथ में गिलास दे दिया.
आंटी वाइन पीने लगीं और साथ में उन्होंने पास में पड़ी सिगरेट बॉक्स से एक सिगरेट निकाल कर सुलगा ली.
वे बोलीं- थैंक्स बेटा, तुम बहुत ही अच्छे और संस्कारी लड़के हो.
आंटी ने पूरा पैग खत्म कर दिया और सिगरेट भी खत्म हो गई थी.
मैंने भी अपना दिमाग चलाया और आंटी को गर्म करने की तरकीब लगाई.
मैं बोला- आंटी, आप वेस्टर्न सालसा डांस बहुत अच्छा करती है न!
आंटी- यस बेटा, मैं कॉलेज के समय से वेस्टर्न डांस करती आ रही हूं. मैंने कितने ही लोगों को यह डांस सिखा दिया है.
मैं- आंटी, मुझे भी कोई स्टाइल सिखा दो ना. मैं भी कॉलेज की पार्टी में करूंगा.
आंटी खुश होकर बोलीं- जरूर बेटा आज ही सिखा देती हूं. पर उसके पहले तुम एक पैग और बना दो.
मैंने आंटी को एक पैग और दे दिया.
आंटी ने जल्दी ही उसे भी खत्म कर दिया.
अभी आंटी थोड़ी नशे में लग रही थीं.
आंटी सोफे से उठ गईं और मैं भी खड़ा हो गया.
फ्लैट का ड्रॉइंग रूम बहुत ही बड़ा था और खाली जगह भी थी जिसमें आराम से डांस किया जा सकता था.
आंटी ने म्यूजिक प्लेयर में से एक वेस्टर्न म्यूजिक सॉन्ग चालू किया और फिर मेरा एक हाथ उन्होंने अपनी कमर पर लगा दिया.
दूसरा हाथ मैंने उनके कंधे पर रख दिया.
आंटी ने भी अपने दोनों हाथों को मेरी कमर और कंधे पर लगा दिया.
वे मुझे एक एक करके डांस स्टेप सिखाने लगीं.
थोड़ी देर में मुझे सारे स्टेप समझ में आ गए.
फिर हम दोनों ने डांस स्टार्ट किया और मैं अब बहुत अच्छे से उनके साथ डांस कर रहा था.
आंटी को भी बहुत मजा आ रहा था.
मेरा एक हाथ जो आंटी की कमर पर था वह सिल्की कुर्ते के कारण धीरे धीरे स्लिप होकर आंटी की लुंगी तक जा रहा था जहां से आंटी की मोटी गोल गांड शुरू होती थी.
मैं लुंगी के अन्दर आंटी की पैंटी को महसूस कर रहा था.
मेरा दूसरा हाथ आंटी के कंधे पर था, उसमें से मैं आंटी की ब्रा का वायर महसूस कर रहा था.
आंटी को शायद महसूस नहीं हो रहा था, वे तो बस डांस एंजॉय कर रही थीं.
वे थोड़ी नशे में भी थीं.
मैं गर्म हो रहा था और मेरा लंड तो टॉप गियर में था.
लेकिन मुझे कंट्रोल करना था.
थोड़ी देर बाद हम दोनों ने डांस बंद कर दिया और आंटी खूब खुश होकर हंसने लगीं.
वे बोलीं- बेटा आज एक अरसे के बाद बहुत मजा आया. तूने तो मुझे खुश कर दिया. मेरे अकेलेपन को पूरा भर दिया. अर्जुन अब बस मुझे अपनी प्यास भी बुझा लेने दे. आज मुझे रोकना मत, तुझे तेरी मॉम की कसम.
यह कहकर आंटी ने मुझसे एकदम चिपक गईं.
आंटी के दोनों स्तन मेरे छाती से चिपक गए और नीचे चूत वाला हिस्सा मेरे लंड वाले हिस्से के करीब आ गया.
मेरा लंड सीधा खड़ा हो गया और हाफ पैंट से बाहर निकलने के लिए मचलने लगा.
आंटी भी मेरे लंड के खड़ेपन को अपने चूत के ऊपर वाले हिस्से में महसूस कर रही थीं.
वे मेरे गालों पर चुम्मा दे रही थीं और मेरे कान को सेक्सी अंदाज में चाट रही थीं.
मैंने भी थोड़ा नाटक करने की सोचा और बोला- आंटी, क्या कर रही हैं आप? मुझे कुछ कुछ हो रहा है … यह सही नहीं है. मॉम को पता चल गया तो क्या होगा, मैं तो आपके बेटा जैसा हूं और बेटे के साथ आप यह सब कर रही हैं. यह सब आपको अंकल के साथ करना चाहिए.
लेकिन आंटी बहुत गर्म हो चुकी थीं, उनसे कंट्रोल नहीं हो पा रहा था.
आंटी चुम्मा चाटी कर रही थीं और थोड़ी रोने वाला मुँह बनाकर बोलीं- बेटा सब सही है. कुछ गलत और गंदा नहीं है. मैं बहुत दिन से प्यासी हूं और तू तो मेरे बेटे जैसा ही है. तू अपनी जेनिफर आंटी की झोली में खुशियां नहीं डालेगा क्या? तेरे अंकल तो बस हफ्ते में एक बार ही मुझे प्यार कर पाते हैं. उनके शरीर में पहले वाली ताकत नहीं है. लेकिन आज तूने मेरे अकेलेपन को भर दिया है बेटा, तुझे भी बहुत मजा आएगा. मैं तुझे खुश कर दूंगी और किसी को भी पता नहीं चलेगा. तू किसी को मत बताना और ना मैं किसी को बताऊंगी.
मैं मन ही मन तो बहुत खुश हो रहा था लेकिन बाहर एक बेचारे और मासूम लड़के वाला नाटक कर रहा था.
मैंने भी कुछ दुखी स्वर में कहा- ठीक है आंटी, खाली आपकी खुशी के लिए मैं यह सब करने को तैयार हूं. लेकिन बस आज ही करेंगे!
आंटी खुशी से चहकीं- ओके मेरी जान.
वे नशे में थीं और अब उन्होंने मेरे होंठों पर चुम्बन देना शुरू कर दिया.
कुछ पल बाद आंटी ने मेरी टी-शर्ट को एक झटके में उतार दिया और मेरी गोरी छाती पर चुम्मा चाटी करने लगीं, मेरे छोटे आकार के निप्पलों को चाटने लगीं.
मुझे बहुत मजा आ रहा था.
मैं तो सेक्स और चुदाई में पहले से एक्सपर्ट बन चुका था.
मेरा वीर्य भी इतनी जल्दी नहीं निकलता था.
मैं शक्तिवर्धक टैबलेट नियमित रूप से लेता था, तभी अपनी मॉम की चुदाई अच्छे से करता था.
अब अचानक आंटी ने मेरे हाफ पैंट को उतार दिया और साथ में अंडरवियर भी.
मेरा 6 इंच का लौड़ा मानो जेल से आजाद हो गया.
मैं पूरा नंगा हो गया था.
आंटी मेरे लौड़े को देखते ही रहीं.
उनके मुँह में पानी आने लग गया था.
वे बोलीं- वाउ अर्जुन, तेरा पेनिस (लंड) तो बहुत हार्ड है और मोटा है. अभी इतनी कम उम्र में भी तेरा यह बहुत लंबा है!
यह कहते ही आंटी नीचे की ओर झुक गईं और मेरे लंड को अपने मुँह में डाल कर जोरदार तरीके से चाटने लगीं.
मैंने फिर से नाटक किया- आंटीई … आंटी क्या रही हो आप!
लेकिन आंटी कहां कुछ सुनने वाली थीं और कहां रुकने वाली थीं.
उनको तो बहुत साल बाद किसी जवान लड़के का जवान और ताजा लंड मिला होगा.
आंटी मेरे लंड को अपने मुँह में पूरा अन्दर तक लेकर जा रही थीं और बहुत मस्त तरीके से मेरे लंड को चाट रही थीं.
इतना मस्त और प्यार से मेरी मॉम ने कभी भी मेरे लंड को नहीं चूसा था.
मॉम तो बेमन से ही मेरे लंड को चाटती थीं.
लेकिन जेनिफर आंटी बड़े प्यार से चाट रही थीं, मुँह के अन्दर गले तक लेकर जा रही थीं.
मुझे भी मजा आ रहा था.
मैं कामुक आवाज में हल्का हल्का सा बोल रहा था- आह … आह आह आंटी.
फिर कुछ देर में आंटी खड़ी हो गईं.
उन्होंने अब अपने सेक्सी होंठों को मेरे होंठों से जोड़ दिया और लंबा चुम्बन किया.
वे बोलीं- अर्जुन मेरी जान, बहुत मजा आ रहा है डार्लिंग, तू बहुत हॉट, सेक्सी और स्ट्रॉन्ग है. मेरी जवानी की रातें याद आ गईं.
यह कहते ही आंटी ने अपना कुर्ता उतार फेंका.
ओह ओह माय गॉड.
आंटी अब क्रीम कलर की ब्रा में थीं और उसमें से आंटी के दोनों नारियल के आकार के बूब्स आधे बाहर दिखाई दे रहे थे.
ब्रा ने आधे बूब्स को दबा कर रखा था.
उनके स्तन कुछ खुलते गोरे से रंग के थे.
फिर आंटी ने अपनी लुंगी भी उतार फेंकी.
आंटी ने क्रीम कलर की पैंटी पहन रखी थी.
अब आंटी ब्रा और पैंटी में थीं.
मैं तो आंटी को इस अर्ध नग्न रूप में देखकर पागल हो रहा था.
कभी मैं आंटी की ब्रा में फंसे स्तनों को देख रहा था तो कभी नीचे पैंटी से चिपकी चूत को देख रहा था.
मेरी आंखों की इस वासना वाली चमक को आंटी समझ गई थीं.
उनको पता चल गया था कि मैं भी गर्म हो रहा हूं.
फिर आंटी ने मुझे सेक्सी अंदाज में आंख मारकर कहा- अर्जुन डार्लिंग, कैसी लगी तुम्हें तुम्हारी जेनिफर आंटी!
मैं बोला- आंटी आप तो बहुत ही खूबसूरत हो, हॉट और सेक्सी हो, आपका फिगर तो लाजवाब है. मैंने जिंदगी में पहली बार किसी औरत को इतने कम कपड़ों में एकदम सामने देखा है. आंटी मुझे कुछ आता नहीं है, थोड़ा बहुत जो देखा है वह पोर्न वीडियो में देखा है बस!
मुझे तो नादान बनकर ही आंटी की चुदाई और खुदाई करनी थी.
आंटी बोलीं- मेरी जान, आज तुझे मैं जन्नत की सैर करा दूंगी और तुझे किसी औरत के साथ शारीरिक संबंध बनाने के और उसे मस्त चोदने की सारे तरीके सिखा दूंगी. लेकिन तू अपने ऊपर कंट्रोल रखना. कहीं तेरा लंड से वीर्य नहीं निकल जाए. वर्ना सारा मजा खराब हो जाएगा और मेरी चूत प्यासी रह जाएगी. अभी मैं ज्यादा गर्म और उत्तेजित हो चुकी हूं. कहीं मैं डिस्चार्ज न हो जाऊं. तेरा भी पहली बार है इसलिए तू भी कहीं डिस्चार्ज नहीं हो जाए … इसलिए पहले जल्दी से मैं तेरे लंड को अपनी चूत में डाल लेती हूं.
यह कहकर आंटी ने मुझे सोफे पर बैठा दिया और मेरे ऊपर आकर सीधे मुँह बैठ गईं.
आंटी ने अपनी पैंटी और ब्रा अभी तक नहीं उतारी थी.
उन्हें शायद मेरे सामने पूरी नंगी होने में थोड़ी शर्म आ रही होगी.
मैं भी जानबूझ कर अपने हाथ से उनकी ब्रा पैंटी को उतारना नहीं चाहता था.
आंटी ने मुझे होंठों पर चुम्मा दिया और अपना एक हाथ नीचे करके अपने हाथ की एक उंगली से अपनी पैंटी के चूत वाले हिस्से को हल्का से एक तरफ करके चूत को खुला किया, जिसमें से आंटी की चूत का दरवाजा खुल गया.
अब आंटी ने अपने उस खुले हिस्से को मेरे लंड के ऊपर रख दिया और एक झटके में मेरा लंड आंटी की चूत में चला गया.
आंटी के मुँह से ‘आह आ आह ह आह.’ का मादक स्वर निकला और मेरे मुँह से ‘ओह ओह गॉड’ निकला.
आंटी अपने नीचे के हिस्से को आगे पीछे कर रही थीं जिससे उनकी चूत के अन्दर लंड अन्दर बाहर हो रहा था.
लंड के शॉट मस्त लग रहे थे.
आंटी की चूत भी ज्यादा टाइट नहीं थी … लूज थी.
ये उम्रदराज होने से हो ही जाती है.
लेकिन इस मुलायम और लचीली चूत में ठीक वैसा ही मजा आता है, जैसे अंगूर की जगह किशमिश का मजा आता है.
मेरा लंड आराम से चूत के अन्दर 6 इंच तक जा रहा था.
आंटी को मजा आ रहा था.
वे सेक्सी आवाज़ निकाल रही थीं- आह आह उह आह गुड.
आंटी ने अपने होंठों को मेरे होंठों से जोड़ दिया था.
मेरे हाथ उत्तेजना में आंटी की कमर पर ब्रा के वायर पर लगे थे.
मेरा मन हो रहा था हाथ से आंटी की ब्रा फाड़ दूँ और आंटी के दोनों स्तनों को चूस लूँ.
लेकिन मुझे कंट्रोल करना आता है.
संयम रखने से लंबे समय तक दौड़ लगाने में सहायता मिलती है.
सोफे पर बैठी हुई आंटी आगे पीछे होती हुई धक्के लगा रही थीं और अपनी चूत के अन्दर मेरे लंड से चुदाई करा रही थीं.
साथ ही उनका ऊपर मेरे होंठ और गालों को चुम्मा लेना और चाटना चालू था.
कुछ देर में बाद अहसास हुआ कि लंड पर कुछ नमी अ गई.
यह मेरे लौड़े का पानी नहीं था.
लेकिन मुझे अपने लंड पर कुछ ज्यादा गीलापन महसूस होने लगा तो मैं समझ गया कि आंटी झड़ने वाली हो गई थीं या झड़ने लगी थीं.
यह गीलापन उनकी चूत से हल्की हल्की बूंदों के निकलने शुरू होने से था.
अब तक काफी मशक्कत हो गई थी और हम दोनों को पसीना आ गया था.
जबकि पूरे ड्रॉइंग रूम में दो एसी चल रहे थे.
आंटी सोच रही होंगी कि अर्जुन जल्दी झड़ जाएगा और उसका वीर्य निकल जाएगा.
लेकिन उल्टा ही हो रहा था.
कुछ ही देर में आंटी की चूत ने बारिश कर दी और उनके चूत रस ने मेरे कड़क शैतान लंड को गीला कर दिया.
आंटी भी पूरी तरह से संतुष्ट हो गई थीं.
उनकी प्यास अच्छी तरह से बुझ चुकी थी और वे मेरी चुदाई से थोड़ी थक भी गई थीं.
आंटी मेरे ऊपर से उठकर मेरे पास में ही सोफे पर आंखें बंद करके लेट गईं.
दोस्तो, आपने मेरी मॉम की सहेली जेनिफर आंटी की चूत चुदाई की कहानी का मजा ले लिया है.
अब मेच्योर आंटी फक स्टोरी के अगले अंक में आंटी के साथ की आगे की बात लिखूँगा.
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मेच्योर आंटी फक स्टोरी का अगला भाग: मम्मी की सहेली को उनके घर में चोदा- 3