गर्लफ्रेंड को पहली बार चोदा उसके घर में

फर्स्ट फक वर्जिन गर्ल स्टोरी में मेरे पड़ोस की एक लड़की से मेरी दोस्ती थी, उसके घर मेरा आना जाना था. वह मुझे बहुत पसंद थी और शायद उसे भी मैं पसंद था. हम इकट्ठे बैठ कर पढ़ते थे.

मेरा नाम लक्ष्य है. मैं राजस्थान के जयपुर का रहने वाला हूँ.

यह फर्स्ट फक वर्जिन गर्ल स्टोरी मेरी गर्लफ्रेंड की चुदाई की है.

मैं पढ़ने के लिए अपनी ननिहाल में रहता था. वहां पर पड़ोस में एक लड़की रहती थी, जिसका नाम पायल था.

पायल सच में एक बहुत ही सेक्सी और हॉट लड़की थी.
उसका फिगर 34-30-36 का था.
उसकी 36 की गांड बहुत ही ज्यादा उठी हुई थी.

जो भी उसको एक बार देख लेता था, उसका लंड खड़ा हो जाता था और वह उसे चोदने के लिए पागल हो उठता था.

पायल पढ़ती थी.
वह लड़की मुझे बहुत पसंद थी और शायद उसे भी मैं पसंद था.
पर हम दोनों के बीच अब तक प्यार का इजहार नहीं हुआ था.

हालांकि मैं उसके घर में आता-जाता था और उसकी मम्मी से मेरी काफी बात होती थी.
मैं पायल की मम्मी से मामी कहता था.
वे भी मुझे बहुत प्यार करती थीं और हर समय मेरी पढ़ाई की तारीफ किया करती थीं.

यह उस वक्त की बात है, जब पायल के एग्जाम चल रहे थे.

उसकी मम्मी ने मुझसे कहा कि लक्ष्य पायल के एग्जाम चल रहे हैं, तू उसको थोड़ा गणित समझा सकता है!
मैंने कहा- ठीक है मामी, मैं उसे समझा दूंगा.

दूसरे दिन मैं रात को पायल को गणित पढ़ाने के लिए उसके घर गया.
उस वक्त मुझे पायल एक चोदने लायक गदर माल लग रही थी.

वह भी एकदम चुस्त टी-शर्ट पहनी हुई थी और मुझे देख कर हल्के से मुस्कुरा रही थी.

मैं, पायल और उसका भाई पढ़ने लगे.

कोई आधा घंटा पढ़ने के बाद उसका भाई बोला- मुझको तो नींद आ रही है. मैं सोने जा रहा हूं.
मैंने कहा- ठीक है, सो जाओ. हम लोग अभी एक घंटा और पढ़ेंगे.

वह चला गया.
पायल और मैं पढ़ रहे थे.

पढ़ते पढ़ते मैं बीच बीच में पायल के मम्मों को देख रहा था जो उसके कुर्ते के अन्दर से मुझे साफ नजर आ रहे थे.

पायल यह बात समझ रही थी कि मैं उसके दूध देख रहा हूं पर वह कुछ बोल नहीं रही थी.
वह अपनी किताब में ध्यान लगाकर पढ़ रही थी.

मैंने पढ़ते-पढ़ते धीरे से पायल के जांघों पर हाथ रखा और कहा- क्या हुआ, समझ में आया या नहीं आया?
वह कुछ नहीं बोली और सिर्फ गर्दन हिला कर बोली- हां, आ रहा है.

ऐसे करते-करते धीरे-धीरे मैंने उसकी जांघों पर हाथ घुमाना शुरू किया.
पर उसने कोई विरोध नहीं जताया और चुपचाप मजा लेती रही.

इससे मेरी हिम्मत और बढ़ गई.
इतने में उसका भाई वापस आ गया.

मैंने पायल की पट से हाथ हटा दिया और पढ़ाने लगा.
उस वक्त रात को 11:30 बज गए थे और हमें भी नींद आने लगी थी.

मैंने पायल से कहा- अब बस करो, बाकी का कल पढ़ेंगे.
दूसरे दिन मैं उसी वक्त फिर से उसके घर पढ़ाने के लिए चला गया.

उस दिन उसका भाई अपने मामा के घर चला गया था.
अब पढ़ने के लिए मैं और पायल ही उस कमरे में थे.

रात को 11:30 बजे के करीब उसके घर वाले सारे सो गए.
हम दोनों पढ़ रहे थे.

पढ़ते-पढ़ते मैंने धीरे से उसकी जांघों पर हाथ घुमाना शुरू किया तो वह कुछ नहीं बोली.

मैंने धीरे-धीरे हाथ उसकी जांघों से घुमाते घुमाते उसकी चूत के नजदीक ले गया.
तो वह थोड़ी शर्मा गई और उसने हाथ हटा दिया.
मैंने भी जबरदस्ती नहीं की.

थोड़ी देर बाद मैंने उसके कंधे पर हाथ रखा और धीरे से उसके गालों पर हाथ घुमाने लगा.

उसके बाद मैंने धीरे-धीरे उसके बूब्स पर हाथ घुमाया.
मैं कुर्ते के ऊपर से ही उसके बूब्स दबाने लगा था.
वह कुछ भी प्रतिरोध नहीं कर रही थी.

धीरे-धीरे मैंने उसके कुर्ते के अन्दर हाथ डाला और एक दूध को दबाने लगा.
वह धीमी आवाज में कामुक स्वर में आह आह करने लगी. वह धीरे-धीरे गर्म होने लगी थी.

मैंने भी अपने हाथ को थोड़ा जोर से उसके बूब्स दबाने शुरू किए.
वह मस्त होने लगी.

एक दूध को दबाते दबाते मैंने उसके दूसरे थन को मसलना शुरू कर दिया.
पहले तो उसने कुछ नहीं किया, फिर बाद में वह भी मेरा साथ देने लगी.

धीरे-धीरे हम दोनों किस करने लगे.
किस करते-करते हम दोनों वहीं पर नीचे उसी के बिस्तर पर लेट गए और एक दूसरे की बांहों में आकर किस करने लगे.

कुछ मिनट तक किस करने के बाद मैंने उसकी लैगी में हाथ डाला और चूत में उंगली करने लगा.
अब वह खुल कर कामुक आवाजें निकाल रही थी.

मैंने कहा- कैसा लग रहा है पायल?
वह बोलने लगी- लक्ष्य, आज तुम मेरी चूत को फाड़ दो. मैं तो आज तुमसे खुलकर चुदवाना चाहती हूं. मैं अब तक किसी से नहीं चुदी हूं. आज मेरी चूत का भोसड़ा बना दो और मेरी चूत को चाट चाट कर … चोद चोद कर पूरी खोल दो … लक्ष्य मेरी जान … अब मुझसे रहा नहीं जा रहा है. मुझे जल्दी से चोद दो.

मैंने उसके धीरे धीरे कपड़े उतारे और उसको पूरी नंगी कर दिया.

उसकी छोटी सी कसी हुई चूत थी, जिसके ऊपर उसने अपनी झांटों के भूरे बाल बड़ी स्टाइल से बना रखे थे.
मखमली घास से सजी हुई चूत देखकर मेरे लंड में तनाव आ गया और मेरा लंड फुंफकार मारने लगा.

मैंने अपने कपड़े उतार दिए और हम दोनों नंगे हो गए.

तब मैंने उसे बोला- लंड मुँह में ले लो.

पहले तो उसने थोड़ी आनाकानी की लेकिन मैंने उससे कहा- एक बार लेकर तो देख, मजा न आए तो पैसे वापस.

मेरे इस डायलॉग पर वह हंस पड़ी और उसने धीरे से मेरा लंड मुँह में भर लिया.

वह पहले टोपे पर अपनी जीभ फेर कर उसे चाटने लगी फिर अचानक से उसे जैसे स्वाद पसंद आ गया था तो वह लंड को मुँह में भर कर चूसने लगी.
आह … अब वह पूरी मस्ती से मेरा लंड चूस रही थी और मेरे पोते सहला रही थी.

मैंने उसके बाल पकड़ कर उसके मुँह में गले तक अपने लंड को उतार रहा था.
वह गों गों कर रही थी लेकिन लंड को बाहर नहीं निकाल रही थी.

मैंने भी उसके चूचे मसलते हुए लंड को अन्दर बाहर करते हुए उसके मुँह को चोदने लगा था.
वह भी लंड चूसते हुए अपने मुँह से लंड का मुख मंजन कर रही थी.

कुछ मिनट बाद उसने लंड मुँह से निकाल कर कहा- अब रहा नहीं जाता, प्लीज तुम अपने लंड को मेरी चूत में डाल दो.
मैंने कहा- ठीक है.

मैंने उसे नीचे लिटाया और टांगें फैलाकर ऊपर कर दीं.
अब मैंने उसकी चूत को खोला और उसकी चूत पर टंके हुए दाने को चूसने लगा.

ज्यों ही मैंने उसकी चूत के दाने को अपने होंठों से दबा का खींचा.
उसकी आह निकल गई.

वह मेरा सिर पकड़ कर चूत के अन्दर घुसाने लगीं.
उसे बेहद मजा आ रहा था.

उसकी दोनों टांगें बिना किसी सपोर्ट के पूरी ऊपर उठी हुई थीं और वह इसी के साथ साथ अपनी गांड को उठा कर चूत मेरे मुँह में घुसेड़ देना चाहती थी.

मैं भी पूरी तन्मयता से उसकी चूत से निकलने वाला नमकीन नमकीन सा रस चाट रहा था.

कुछ ही मिनट तक उसकी चूत चूसने के बाद मैंने अपने लंड पर थूक लगाया और सुपारे को उसकी चूत के छेद पर रख दिया.

वह मचलने लगी और जल्दी से अपनी चूत में लंड लेने की कोशिश करने लगी.
मैं समझ रहा था कि यह अभी चिल्लाएगी इसीलिए मैंने एक हल्का सा धक्का मारा तो मेरे लंड का सुपारा उसकी चूत में घुस गया.

वह एकदम से सिहर उठी और छटपटाती हुई चिल्लाने लगी- उई मर गई … आह भोसड़ी के निकाल मादरचोद आह फट गई मेरी!
मैंने भी उसके मुँह पर हाथ रखा और लंड को अन्दर ठेलते हुए कहा- साली चुप रह मान की लौड़ी … आज तो तेरी मां चोद दूंगा बहन की लौड़ी … तेरी चूत का भोसड़ा बना दूंगा.

बस यह कहते हुए मैंने एक और करारा धक्का दे मारा.
मेरा आधा लंड उसकी रसभरी चूत में सरकता चला गया.

वह बेहद छटपटाती हुई खुद को मेरी पकड़ से छुड़ाने की कोशिश कर रही थी.
पर मेरी जकड़न के आगे उसकी एक नहीं चल रही थी.

फर्स्ट फक वर्जिन गर्ल दर्द के मारे उसकी आंखों में आंसू आ गए और वह रोने लगी.
मैं उसके रोने की परवाह न करते हुए उसको धकापेल चोदने लगा और उसे चूमने लगा.

धीरे-धीरे मैंने अपने लंड को अन्दर पेलने की कोशिश जारी रखी
इसी क्रम में मैंने एक और जोरदार धक्का मार कर अपना पूरा लंड उसकी चूत में उतार दिया.

उसकी चूत से खून आ गया.
मैं समझ गया कि उसकी सील टूट गई है.

वह दर्द से फफक फफक कर रोने लगी और कहने लगी- आह लक्ष्य … प्लीज छोड़ दो … अपना बाहर निकाल दो लक्ष्य … प्लीज छोड़ दो मुझे … बाहर निकालो.
मैंने कहा- रंडी साली, चुपचाप सहती जा … दो मिनट बाद तुझे भी मजा आने लगेगा.

वह मेरा साथ देने लगी और हम दोनों की मस्ती भरी चुदाई चालू हो गई.

मैं उसको जोर-जोर से चोद रहा था और वह मेरे लौड़े के नीचे दबी हुई ‘आह आह’ की मादक आवाज निकाल रही थी.

दस मिनट की चुदाई के बाद हम दोनों ने आसन बदला.
अब मैंने उसको कुतिया बनाया और पीछे से उसकी चूत में लंड घुसेड़ दिया.

मैंने उसके चूतड़ों पर कुछ थपकियां लगाईं, जिससे उसकी चुदाई का मजा दुगुना हो गया.
मैं उसकी चूत में बड़े जोश के साथ धक्के मारता हुआ चोद रहा था और उसके बाल खींचते हुए उसकी घुड़सवारी का मजा ले रहा था.

वह भी कामुक आवाज निकाल कर मुझे गालियां दे देकर चुद रही थी- आह लक्ष्य … साले मेरी चूत फाड़ दे आज बहन के लौड़े … साले हरामी लक्ष्य … आज तो बस मेरी चूत को भोसड़ा बना दे … आज से यह चूत तुम्हारी है लक्ष्य … तुम मेरे पति हो … आह मैं तेरी पत्नी हूं … तुम मुझे चोदो … रोज चोदना … तुम मुझे इसी तरह पेलते रहना … जब भी मुझे चुदवाना होगा, मैं तेरे लंड से ही चुदवाऊंगी.
मैं भी ऊपर से बोल रहा था- हां साली मां की लौड़ी छिनाल … तू मेरी रंडी है … आज के बाद मैं तुझे जब चाहूँगा, तब चोद दूंगा.

इसी तरह से चोदते चोदते 15-20 मिनट हो गया और उसके कुछ पल बाद उसका पानी निकल गया.
मैंने और जोर जोर से धक्के लगाने शुरू कर दिए.

जब मेरा निकलने वाला था तो मैंने पूछा- कहां निकालूँ?
वह बोली- लक्ष्य मेरे राजा, मैं तेरा पानी पीना चाहती हूं.

मैंने लंड चूत से बाहर निकाल कर उसके मुँह में दिया और वह मुँह में लंड लेकर चूसने लगी.
कुछ देर तक चुप्पे लगाने के बाद मेरा पानी निकल गया और उसने पूरा पानी गटक लिया.

उसने सारा पानी पी जाने के बाद मेरे लंड को चाट चाट कर साफ़ कर दिया.
इस तरह मैंने अपनी गर्लफ्रेंड को पहली बार उसके घर में चोद दिया.

दोस्तो, यह मेरी पहली गर्लफ्रेंड की चुदाई की कहानी थी.
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धन्यवाद.
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