Xxx भाई चुदाई कहानी में एक रात मैंने मम्मी पापा की चुदाई की आवाजें सुनी तो मैं भी अपनी चूत में उंगली करने लगी. मगर मेरे बड़े भाई ने मुझे नंगी देख लिया.
मेरे भैया ने मुझे रोज़ चुदने की आदत डाल दी थी.
इसी वजह से मैं अब अपने पापा को भी चूत देने लगी.
अब मुझे बिना चूत चुदवाए नींद ही नहीं आती है.
मैं सेक्स की चुदासी हो गई हूँ.
अब मेरे पापा भी मेरी चूत के दीवाने हैं.
चलो दोस्तो, मैं अब सीधी Xxx भाई चुदाई कहानी पर आती हूँ.
सबसे पहले मैं अपने बारे में बताती हूँ.
मेरा नाम आर्यांशी है, मैं गुजरात से हूँ.
मेरे पापा एक सरकारी कंपनी में काम करते हैं.
मेरी मम्मी स्कूल में टीचर हैं.
मेरे भैया मुझसे दो साल बड़े हैं.
वे अभी कॉलेज में थे और उसी समय मेरी जवानी जोर मारने लगी थी.
मैं ग्यारहवीं क्लास में थी और मेरे शरीर में बदलाव होने लगे थे.
मेरी चूचियां बड़ी मस्त उभरने लगी थीं.
चूत पर बाल आने लगे थे, त्वचा चिकनी होने लगी थी.
मेरी गांड भी उभरने लगी थी.
मेरा कोई बॉयफ्रेंड नहीं था, मैंने अभी-अभी जवानी में कदम रखा था तो मैं डरती थी.
मेरी क्लासमेट्स कभी-कभी मेरे साथ सेक्स की बातें करती थीं तो मुझे बहुत अच्छा लगता था.
मेरे पापा और मम्मी एक ही कमरे में सोते थे.
मैं और मेरे भैया दूसरे कमरे में, लेकिन अलग-अलग बेड पर सोते थे.
एक दिन भैया अपने दोस्त की बर्थडे पार्टी में गए थे.
वे बर्थडे पार्टी से सुबह ही वापस आने की कह कर गए थे.
मैंने अपने मम्मी पापा के साथ खाना खाया और सोने चले गए.
मम्मी-पापा अपने रूम में चले गए और मैं अपने रूम में.
मेरी सहेली ने मुझे बताया था कि उसने आज अपनी झांटें साफ की थीं.
आज मैं भी रूम में अकेली थी तो मैंने अपनी झांटें साफ करने की सोची.
मैं बाथरूम में गई और अपनी चूत साफ करने लगी.
जब मैं बाहर आई, तो मेरी चूत में खुजली-सी होने लगी.
मैंने आज पहली बार अपनी चूत साफ की थी.
मैं कमरे में जाकर तेल से मालिश करने वाली थी.
तभी मुझे मम्मी के रूम से कुछ आवाज़ें सुनाई दीं.
पास जाकर सुना, तो मम्मी दर्द से चिल्ला रही थीं.
पापा, मम्मी को चोद रहे थे.
मम्मी की आवाज़ें सुनकर मुझे अजीब-सा लग रहा था.
आज मेरी चूत ने पहली बार पानी छोड़ा था.
मुझसे सहन नहीं हुआ, तो मैं वहीं फर्श पर लेट गई और अपनी चूत सहलाने लगी.
इतना मज़ा मुझे पहली बार आया था.
तब मैं सोचने लगी कि चुदने में कितना मज़ा आता होगा.
मैं अपने कमरे में गई और चूत पर तेल लगाया, चुत मसली और दस मिनट बाद फिर से झड़ गई.
मैं पूरी रात नंगी ही सो गई.
दूसरे दिन मैं स्कूल चली गई.
शाम को आई, हमने खाना खाया और अपने-अपने रूम में चले गए.
अब मैं भैया के सोने का इंतज़ार कर रही थी.
कुछ देर बाद मैं अपनी चूत में उंगली करने लगी.
मेरे मुँह से अपने आप सिसकारियां निकलने लगीं.
भैया अभी सोए नहीं थे.
वे मेरे बेड के पास आए और मेरी आवाज़ें सुनने लगे.
अचानक से उन्होंने लाइट जला दी!
मैंने अपनी चूत पर तकिया रख लिया.
मैं अपने चेहरे को दोनों हाथों से छुपाने लगी.
भैया मुझे कुछ देर देखने के बाद बोले- अरे, मेरी प्यारी बहन इतनी बड़ी कब हो गई?
मैं कुछ नहीं बोली, शर्म से पानी-पानी हो रही थी.
भैया ने हल्के से मेरे चेहरे से मेरे हाथ हटाए और बोले- ये क्या कर रही थी, मेरी प्यारी गुड़िया रानी?
मैं डर गई और बोली- सॉरी भैया, मुझे माफ कर दो! आप प्लीज मम्मी को मत बताना, प्लीज़ भैया, मुझे माफ कर दो, प्लीज़!
फिर भैया ने कहा- अरे, कोई बात नहीं … इस उम्र में ये सब करते हैं!
मैंने कहा- भैया, आप भी?
वे बोले- हां, इसमें क्या हो गया.
मैंने पूछा- आपकी कोई गर्लफ्रेंड नहीं है?
भैया बोले- नहीं, मुझे हाथ से काम चलाना पड़ता है.
मैं हंस दी.
फिर भैया बोले- तुझे ये ही करना था, तो मेरे साथ कर लेती! तुझे ज़्यादा मज़ा भी आता, तेरा काम भी हो जाता … और मुझे भी कहीं बाहर लड़की नहीं ढूंढनी पड़ती.
मैंने कहा- भैया, ये गलत है! आप मेरे भाई हो!
भैया बोले- तो क्या हो गया? आजकल सब चलता है! हम बाहर किसी के साथ सेक्स करेंगे, इससे अच्छा तो घर में ही कर लेते हैं.
मैंने कहा- भैया, अगर किसी को पता चल गया तो?
भैया बोले- घर में किसको पता चलेगा? बाहर करेंगे तो जरूर पता चल जाएगा! मम्मी-पापा भी तो करते हैं, फिर हम क्यों नहीं कर सकते?
मैंने पूछा- भैया, आपको कैसे पता उनका?
भैया बोले- मैंने बहुत बार उन्हें सेक्स करते देखा है.
फिर मैंने कहा- कल रात को मैंने भी मम्मी की आवाजें सुनी थीं. वे चिल्ला रही थीं.
भैया हँसते हुए बोले- पापा ने जोर से पेल दिया होगा.
ये कहकर वो हँसने लगे और मुझे भी हँसी आ गई.
फिर भैया को इशारा मिल गया.
उन्होंने मुझे अपनी तरफ खींचा और मुझे किस करने लगे.
मैंने पहली बार किस किया था.
मैं ज्यादा कुछ समझ पाती, उससे पहले ही भैया मेरे बेड पर आ गए.
उन्होंने मेरा टॉप उतारकर फेंक दिया.
फिर वे मेरे बूब्स को मसलने लगे और जोर-जोर से किस करने लगे.
मैं भी अब भैया का साथ देने लगी.
कुछ देर बाद भैया मेरे बूब्स चूसने लगे.
मुझसे अब रहा नहीं गया तो मैं बेड पर लेट गई. भैया मेरे दोनों बूब्स मसलते हुए मेरी नाभि तक आए और जीभ से चाटने लगे.
हमउम्र भाई बहन की वासना में मैं अब सातवें आसमान पर थी. मुझे इतना मजा कभी नहीं मिला था.
अब भैया मेरी पैंटी को खींचने लगे और उसके ऊपर से ही मेरी चूत पर हाथ फेरने लगे.
मेरी चूत Xxx भाई चुदाई से पहले ही पानी छोड़ चुकी थी.
फिर भैया ने मेरी पैंटी उतारी, तो मेरी चूत पूरी गीली थी.
भैया बोले- अरे, मेरी शेरनी का इतने में ही पानी निकल गया.
मैं मुस्कुराने लगी.
फिर भैया मेरी गर्दन को किस करने लगे और मेरी चूत सहलाने लगे.
पाँच मिनट ऐसा करने के बाद मैं फिर से गर्म हो गई.
भैया ने अब अपने सारे कपड़े उतार दिए.
मेरे सामने मेरा भाई नंगा खड़ा था और एक भाई के सामने उसकी बहन नंगी बिस्तर पर पड़ी थी.
मेरे भाई का लंड थोड़ा काला और मोटा था. वे उसे सहला रहे थे.
भैया मेरे बूब्स मसलते हुए बोले- गुड़िया रानी, अब इसके लिए तैयार हो जाओ.
मैं तो कब से तैयार थी, लेकिन मैंने ऐसे ही कहा- नहीं भैया, ये बहुत बड़ा है!
तब भैया बोले- साली, देख तो ऐसे रही थी जैसे इसे खा ही जाएगी!
मैं हंस दी.
फिर भैया ने मेरा हाथ पकड़ा और अपना लंड थमा दिया.
मुझे अजीब-सा लगा.
वे बोले- इसे मुँह में ले!
मैंने मना कर दिया- नहीं भैया, ये गंदा है.
लेकिन भैया मेरी कहां सुनने वाले थे … उन्होंने मेरा मुँह पकड़ा और लंड अन्दर घुसा दिया.
मुझे अच्छा नहीं लग रहा था, लेकिन भैया अन्दर-बाहर करने लगे.
थोड़ी देर बाद मुझे भी अच्छा लगने लगा और मैं उनके लंड को किसी लॉलीपॉप की तरह चूसने लगी.
पाँच मिनट चूसने के बाद भैया मेरी चूत में जीभ डालने लगे.
मेरे मुँह से ‘हु हु हु आह हो उह ई या उम्हा’ की आवाजें आने लगीं.
मैं मदहोश हो गई थी.
फिर भैया ने मेरी गांड के नीचे तकिया लगाया, अपना लंड सैट किया और हल्का-सा झटका दे दिया.
मुझे हल्का दर्द हुआ लेकिन मैं संभल गई.
इतने में मेरे बेरहम भैया ने एक जोरदार झटका दिया और मेरी चूत फाड़ दी.
भैया का लंड मेरी चूत की फाँक को चीरते हुए अन्दर चला गया.
मेरी आंखों से आंसू निकलने लगे.
मैं जोर-जोर से चिल्लाने लगी, तो भैया ने मेरे मुँह को अपने मुँह से दबा दिया और किस करने लगे.
मैं झटपटाने लगी, लेकिन भैया एक जानवर की तरह मुझे चोद रहे थे.
भैया ने अपने झटके और तेज कर दिए.
मेरी आंखों से आंसू नदी की धार की तरह बहने लगे लेकिन मेरे भैया को मुझ पर तरस नहीं आया.
फिर पंद्रह मिनट बाद भैया मेरी चूत में ही झड़ गए और मेरी चूत पर ही लेटे रहे.
थोड़ी देर बाद उठे और मुझे किस करने लगे.
फिर भैया बोले- मजा आया ना, जान?
मैंने कहा- हां, लेकिन दर्द बहुत हुआ!
भैया बोले- पहली बार था, इसलिए! अगली बार और ज्यादा मजा आएगा.
मैं मुस्कुराते हुए बोली- अच्छा, ठीक है! अब हटो, मुझे मेरी चूत की हालत देखने दो.
ये सुनकर भैया हँसते हुए बाथरूम चले गए.
मैंने अपनी चूत को देखा तो वो पूरी लाल हो चुकी थी.
हल्का-हल्का मीठा-सा दर्द भी हो रहा था.
मैं दो बार झड़ चुकी थी.
कुछ देर बाद भैया आए और मुझे किस करने लगे.
वे बोले- मेरी प्यारी बहना, बस एक राउंड और!
मैंने मना कर दिया, लेकिन वो कहां मानने वाले थे.
उन्होंने मुझे फिर से गर्म किया और फिर से चोदने लगे.
इस बार मुझे Xxx भाई चुदाई में ज्यादा मजा आ रहा था.
मैं भी अपनी गांड उठा-उठाकर चुद रही थी.
मैं मस्त कामुक आवाजें निकाल रही थी.
भैया भी फुल मजे से चोद रहे थे.
इसी तरह हमने पूरी रात में चार बार चुदाई की और एक-दूसरे से चिपककर नंगे ही सो गए.
अब तो हम रोज रात को सेक्स करते हैं और दोनों भाई-बहन नंगे ही सोते हैं.
मैं अगली कहानी में बताऊंगी कि कैसे मेरे पापा ने भी मुझे चोदा.
आप मुझे मेल पर बता सकते हैं कि आपको मेरी Xxx भाई चुदाई कहानी कैसी लगी.
गुड बाय, दोस्तो! लव यू!
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